लखनऊ[टुडे टीवी इंडिया नेटवर्क]। लखनऊ के चारबाग रेलवे स्टेशन के पास स्थित कुलियों का रैन बसेरा, जो लगभग 25 वर्षों से कार्यरत है, अब रेलवे द्वारा री-डेवलपमेंट योजना के तहत तोड़े जाने की तैयारी की जा रही है। रेलवे प्रशासन का दावा है कि यह कार्रवाई स्टेशन के विकास के लिए आवश्यक है, लेकिन कुलियों ने इस कदम का विरोध किया है।
रेलवे बुलडोजर चलाने की तैयारी
आज सुबह रेलवे का बुलडोजर कुलियों के रैन बसेरा को तोड़ने के लिए मौके पर पहुंचा। इससे पहले कुलियों ने विरोध प्रदर्शन करते हुए अपने अधिकारों की रक्षा की मांग की। कुलियों का कहना है कि उनका रैन बसेरा केवल आश्रय का स्थान नहीं, बल्कि उनका जीवन यापन करने का भी एक महत्वपूर्ण केंद्र है।
DRM और रेलवे अधिकारियों का दौरा
विरोध की सूचना मिलने पर लखनऊ के DRM (नॉर्दन रेलवे), श्री सचिंद्र मोहन शर्मा, चारबाग रेलवे स्टेशन के डायरेक्टर प्रशांत कुमार और अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौके पर पहुंचे। उन्होंने स्थिति का जायजा लिया और कुलियों से बातचीत की।
कुलियों की आपत्ति और आश्रय की मांग
कुलियों के अध्यक्ष श्री सुरेश यादव ने DRM से मांग की कि उनका रैन बसेरा तोड़ने से पहले उन्हें अन्य बड़े स्थानों पर आश्रय प्रदान किया जाए। कुलियों के अनुसार, इस रैन बसेरे में लगभग 250 कुली रहते हैं, और वर्तमान में पर्याप्त जगह नहीं होने के कारण उन्हें विश्राम करने में कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है।
रेलवे द्वारा दी गई प्रतिक्रिया
रेलवे प्रशासन ने यह आश्वासन दिया है कि कुलियों को उचित स्थान मुहैया कराया जाएगा, लेकिन रैन बसेरे को हटाने की प्रक्रिया को जल्द ही पूरा करने की योजना है।