संभल [टुडे टीवी इंडिया नेटवर्क]। संभल की शाही जामा मस्जिद विवाद में एडवोकेट कमिश्नर की 45 पेज की रिपोर्ट ने कई महत्वपूर्ण तथ्यों को उजागर किया है। मस्जिद की भौगोलिक और ऐतिहासिक वास्तविकताओं के साथ वादी और प्रतिवादी पक्षों के तर्कों का भी अध्ययन किया गया है। आइए, इस सर्वे रिपोर्ट के प्रमुख बिंदुओं और खुलासों को विस्तार से समझते हैं।
सर्वे का उद्देश्य और प्रक्रिया
सर्वे का उद्देश्य शाही जामा मस्जिद की ऐतिहासिक और धार्मिक पृष्ठभूमि की गहराई से जांच करना था। यह सर्वे एडवोकेट कमिश्नर रमेश राघव द्वारा किया गया, जिन्होंने मस्जिद के भौगोलिक और ऐतिहासिक तथ्यों पर ध्यान केंद्रित किया।
सर्वे के दौरान किए गए कार्य:
- नापजोख और जरूरत पड़ने पर खोदाई।
- ऐतिहासिक पुस्तकों और पुरालेखों का अध्ययन।
- मस्जिद परिसर की वीडियोग्राफी (19 और 24 नवंबर को)।
- वादी और प्रतिवादी पक्षों के दावों का विश्लेषण।
मस्जिद की भौगोलिक स्थिति
करीब दो बीघा भूमि में बनी शाही जामा मस्जिद का मुख्य गेट और सीढ़ियां जगजाहिर हैं। सर्वे में निम्नलिखित महत्वपूर्ण तथ्य सामने आए:
- मुख्य गेट और कुआं:
- मुख्य गेट के पास सीढ़ियों के बराबर एक कुएं को ढक दिया गया था।
- लोहे की चादर हटाकर देखने पर कुएं में पानी पाया गया।
- गुंबद का कक्ष:
- गुंबद वाला कक्ष 20 फीट वर्गाकार से अधिक बड़ा है।
- इसमें पंखे लगे हुए हैं और हाल ही में रंग कराया गया प्रतीत होता है।
- मेहराब और ताख:
- मुख्य गेट के पीछे ताख और मेहराबनुमा स्थान मिले।
- इनमें से कई स्थानों को सीमेंट से बंद किया गया था।
ऐतिहासिक प्रमाण और दावे
हरि हर मंदिर का उल्लेख:
एडवोकेट कमिश्नर की रिपोर्ट में ऐतिहासिक दस्तावेजों का अध्ययन भी किया गया। प्रमुख तथ्यों में शामिल हैं:
- आइन-ए-अकबरी:
- अबुल फजल की रचना में संभल में भगवान विष्णु के प्रसिद्ध हरि हर मंदिर का उल्लेख है।
- यह मंदिर पुराने शहर के मध्य स्थित विशाल टीले (कोट) पर बना था।
- मुरादाबाद गजेटियर (1911):
- एचआर नेविल ने लिखा है कि हरि हर मंदिर अब अस्तित्व में नहीं है। इसकी जगह मस्जिद ने ले ली है।
- बाबरनामा का उल्लेख:
- वादी पक्ष ने दावा किया कि बाबर की डायरी में हरि हर मंदिर को आंशिक रूप से ध्वस्त करने और मस्जिद बनाने का उल्लेख है।
सर्वे के अन्य खुलासे
- फव्वारा और टैंक:
- बजु स्थल के पास बने फव्वारे को खाली कराया गया। इसके नीचे एक टैंक पाया गया।
- पत्तियों और फूलों का निशान:
- सर्वे में तीन पत्ती वाले फूल और अन्य आकृतियां पाई गईं।
- दरवाजों का अध्ययन:
- मुख्य कक्ष के दो दरवाजे बंद मिले।
वादियों और प्रतिवादियों के तर्क
वादी पक्ष के दावे:
- बाबर ने 1529 में हरि हर मंदिर को ध्वस्त कराया।
- एएसआई ने जनता के प्रवेश के लिए उचित प्रावधान नहीं किए।
- मंदिर के निर्माण का श्रेय पृथ्वीराज चौहान, राजा जगत सिंह, और डोड राजा विक्रम सिंह को दिया गया।
प्रतिवादी पक्ष का तर्क:
- मस्जिद का निर्माण एक धार्मिक स्थल के रूप में किया गया।
- इतिहास में मंदिर के अस्तित्व पर जोर दिया गया, लेकिन मस्जिद निर्माण का विरोध नहीं किया गया।